Tuesday, May 27, 2008

तुमने ही

तुमने ही सिखलाया मुझको
प्यार का मतलब क्या होता है
तुमने ही सिखलाया मुझको
हँसना रोना क्या होता है

तुमने ही बताया मुझको
प्यार का मतलब जग होता है
तुमने ही बताया मुझको
दिल से हँसना हँसना होता है

तुमने ही दिखलाया मुझको
रंगों का होने क्या होता है
तुमने ही दिखलाया मुझको
आंखों में खोना क्या होता है

जब तुमने पोछे थे मेरी
आंखों से बहते कुछ आँसू
तब तुमने ही तों था सिखलाया
अपनों का होना क्या होता है

......... तुम्हारी मैं


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